
तू बाज की उड़ान है
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Category : Poems
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रुके नहीं कदम तेरे ,विपत्तियों का राज है ।तू खून से तिलक लगा ,ये शत्रु की आवाज है ।तू तिलमिलाए दुश्मनों की ,कोशिशें नाकाम कर ।ना कर हे पार्थ शाम अब ,तू युद्ध त्राहिमाम कर ।शौर्य ना ढले तेरा ,तू सूर्य के समान है ।तू सिंह की है गर्जना ,तू बाज की उड़ान है ।✍ धीरेन्द्र पांचाल 🚩🚩
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