मेरी मां Read Count : 123

Category : Poems

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मां है एक जीवन का प्याला

 करती है सब कुछ निराला ।

बच्चे को है जान वो देती

हर मुश्किल से उसे बचाती ।

दुनिया मे कुछ भी नही है ऐसा 

जो हो मां के प्रेम के जैसा ।

खुदा मेरी, भगवान है मेरी 

है मेरे जीवन की डोरी।

जीवन जीना मुझे सिखाती

जीवन का सही अर्थ बताती ।

राग जीवन का एक बताती

परोपकार का पाठ पढ़ती।

मां के बिना जीवन है खाली

भर जाती है अंधियारी काली ।

भेद का भाव न हो जिसमे 

ममता ऐसी होती है उस मे ।

रामकथा का ज्ञान वह देती 

रामराज्य का अर्थ बताती ।

जितना भी तुम उसे रुलाते 

चोट लगे तो उसे ही बुलाते।

मां है ममता का भंडार 

बच्चे है जिसका संसार ।

मां की ममता की है पुकार 

दुनिया मे जिसका संचार ।

कवियो ने भी खूब लिखा है 

मां के प्रेम का गान किया है ।

मेरी मां मेरी है जननी 

है मेरे देखो की हरानी ।।1।।

Comments

  • 😘😘

    Oct 07, 2018

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